पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति Donald Trump ने हाल ही में G7 (Group of Seven) को G9 में बदलने का सुझाव दिया है। उन्होंने कहा कि इस समूह में Russia और China को शामिल किया जाना चाहिए। यह बयान अंतरराष्ट्रीय राजनीति में एक नई बहस को जन्म दे रहा है। G7, जो कि दुनिया के सात सबसे विकसित देशों का समूह है, में इस तरह के बदलाव का प्रस्ताव कई देशों के लिए चौंकाने वाला है।

G7 क्या है और इसका महत्व?

G7 दुनिया के सात सबसे विकसित और औद्योगिक देशों का समूह है, जिसमें अमेरिका, कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान और यूनाइटेड किंगडम शामिल हैं। यह समूह वैश्विक आर्थिक और राजनीतिक मुद्दों पर चर्चा करने के लिए जाना जाता है।

Donald Trump का मानना है कि Russia और China जैसे बड़े देशों को इस समूह में शामिल करने से यह और अधिक प्रभावशाली और प्रासंगिक हो जाएगा। हालांकि, G7 के मौजूदा सदस्य देशों ने इस पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी है।

Russia और China को शामिल करने का कारण

Donald Trump ने कहा कि Russia और China जैसे देशों को शामिल करने से G7 का दायरा बढ़ेगा और यह समूह वैश्विक मुद्दों को बेहतर तरीके से संभाल सकेगा। उन्होंने यह भी कहा कि इन देशों के बिना G7 की प्रासंगिकता कम हो रही है।

हालांकि, यह सुझाव विवादास्पद है क्योंकि G7 के कई सदस्य देशों ने Russia और China की नीतियों की आलोचना की है। खासकर, Russia को 2014 में Crimea पर कब्जे के बाद G8 से बाहर कर दिया गया था।

अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रिया

Donald Trump के इस सुझाव पर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मिली-जुली प्रतिक्रिया देखने को मिल रही है। कुछ विशेषज्ञों का मानना है कि यह कदम G7 को और अधिक प्रभावशाली बना सकता है, जबकि अन्य का कहना है कि इससे समूह के मूल सिद्धांतों पर असर पड़ेगा।

China और Russia ने इस पर कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है, लेकिन यह देखना दिलचस्प होगा कि वे इस प्रस्ताव पर कैसे प्रतिक्रिया देते हैं।

क्या G7 का विस्तार संभव है?

G7 का विस्तार करना आसान नहीं है। इसके लिए सभी सदस्य देशों की सहमति आवश्यक है। इसके अलावा, G7 का गठन लोकतांत्रिक और विकसित देशों के समूह के रूप में किया गया था। ऐसे में Russia और China, जो कि अलग राजनीतिक और आर्थिक मॉडल का पालन करते हैं, को शामिल करना एक चुनौतीपूर्ण निर्णय हो सकता है।

विशेषज्ञों का मानना है कि G7 का विस्तार करने से पहले इसके मौजूदा सदस्य देशों को इसके दीर्घकालिक प्रभावों पर विचार करना होगा।

Donald Trump का इतिहास और G7

Donald Trump का G7 के साथ एक जटिल इतिहास रहा है। अपने राष्ट्रपति कार्यकाल के दौरान, उन्होंने कई बार G7 की आलोचना की और इसे अप्रासंगिक बताया। उन्होंने यह भी कहा था कि G7 को G8 में बदलना चाहिए और Russia को वापस शामिल करना चाहिए।

उनके इस नए बयान ने एक बार फिर से G7 के भविष्य को लेकर बहस छेड़ दी है।

Donald Trump का G7 को G9 में बदलने का सुझाव अंतरराष्ट्रीय राजनीति में एक नई बहस को जन्म दे रहा है। यह देखना दिलचस्प होगा कि G7 के मौजूदा सदस्य देश और अन्य वैश्विक शक्तियां इस पर कैसे प्रतिक्रिया देती हैं।

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